Ai Driven Lawmaking एकत्रित अरब अमीरात (UAE) ने एक ऐतिहासिक शुरुआत की है, जिसके तहत अब कानून बनाने और उनके नियमन (regulation) में Artificial Intelligence (AI) का उपयोग किया जाएगा। इस कदम के साथ UAE दुनिया का पहला देश बन गया है जिसने सरकारी प्रक्रिया (legislative process) में AI को प्रमाणिक रूप से शामिल किया है।prime minister Sheikh Mohammed bin Rashid Al Maktoum ने इस पहल को “game-changing” घोषित कर. दिया और कहा कि AI-powered legislative system ” Ai Driven Lawmaking कानून बनाने के तरीके को बदल देगा, जिससे प्रक्रिया तेज और ज्यादा सटीक होगा.
A Step Towards AI-Driven Lawmaking

UAE सरकार ने हाल ही में Office of Regulatory Intelligence के स्थापना को मंजूरी दी है। यह नया समिति (cabinet body) इस बात की निगरानी करेगा कि किस तरह से AI का इस्तेमल नए कानून बनाने और पुराने कानूनों में सुधार (reform) के लिए किया जा रहा है। यह Office केवल मौजूदा कानूनों की जाँच नहीं करेगा, बल्कि AI के माध्यम से Proactive तरीके से नए कानूनों के सुझाव भी तैयार करेगा। इस योजना के पीछे मुख्य लक्ष्य है कि कानूनों को आधुनिक जरूरतों के हिसाब से तेजी से बदला जा सके और सरकारी प्रक्रिया को अधिक agile और responsive बनाया जाए.
How AI Driven Lawmaking Transform the Process

सरकारी मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, UAE सरकार अब एक व्यापक database तैयार करेगी जिसमें federal और local दोनों स्तरों के कानूनों को शामिल किया जाएगा। इसके साथ ही court rulings, government services और अन्य सार्वजनिक डेटा भी इस database में जोड़ा जाएगा.
Sheikh Mohammed के अनुसार, AI “नियमित रूप से कानूनों में अपडेट का सुझाव देगा,” जिससे सरकार बदलती परिस्थितियों के अनुसार तुरंत प्रतिक्रिया कर सकेगी। Officials का मानना है कि इस टेक्नोलॉजी के उपयोग से AI Driven lawmaking process की गति 70% तक बढ़ सकती है और साथ ही, कानूनी जांच (legal review) की लागतों में भी भारी कमी आ सकती है जो आमतौर पर law firms द्वारा की जाती है। इसके अलावा, AI-based system पहले से अनुमान लगा सकेगा कि किस क्षेत्र में किस तरह के कानूनों में बदलाव की जरूरत होगी, जिससे flexibility और efficiency दोनों में बढ़ोतरी होगी.
Benefits of AI-Driven Legislation Lawmaking

UAE की इस प्रयास से कई संभावित लाभ सामने आते हैं:
- Faster Lawmaking: पारंपरिक कानूनी प्रक्रिया के मुकाबले काफी तेज कानून बनेंगे।
- Cost-Effective: महंगी कानूनी सेवाओं पर निर्भरता कम होगी।
- Real-time Updates: तेजी से बदलती परिस्थितियों में कानूनों का तुरंत सुधार संभव होगा।
- Comprehensive Review: AI सभी पुराने और नए डेटा का जांच कर कानूनों के व्यापक सुधारों का सुझाव देगा।
ये सारा फायदा UAE को ग्लोबल स्तर पर एक नायी और टेक्नोलॉजी-ड्रिवन गवर्नेंस मॉडल के रूप में स्थापित कर सकते हैं.
Ai Driven Concerns and Ethical Challenges

हालांकि, AI के जरिए कानून बनाने का विचार जितना अनोखा है, उतना ही जोखिम भरा भी है। कई एक्सपर्ट और देखणे वाले (observers) ने इस पर चिंता दिखाई है। सबसे बड़ा खतरा यह है कि AI-generated interpretations इंसानी कानूनी समझ (human legal reasoning) से अलग हो सकते हैं। इससे ethics और accuracy से जुड़े मुद्दे विकसित हो सकते हैं। अगर कोई गलती से biased data को आधार बनाकर कानून बनाए गए, तो यह गंभीर सामाजिक और कानूनी संकटों का कारण बन सकता है.
इसके अलावा, मशीन द्वारा योजना कानूनों में मानवीय समझदारी (human sensitivity) की कमी हो सकती है, जो न्याय के मेन नियम के खिलाफ जा सकता है। एक्सपर्टस का मानना है कि AI Driven lawmaking में मददगार के रूप में इस्तेमाल करना चाहिए, न कि उसे पूरी तरह नियंत्रण सौंप देना चाहिए। मानव एक्सपर्टस द्वारा फायनल जांच और योग्य रिव्ह्यू (ethical evaluation) अत्यंत आवश्यक रहेगा.
Also read: India’s Semiconductor Dream
Conclusion
UAE ने एक बार फिर दिखा दिया है कि वह भविष्य की सरकारों के निर्माण में अग्रणी है। कानून निर्माण में AI का उपयोग एक साहसी और भविष्यगामी कदम है, जो इस प्रक्रिया को तेज, सटीक और अधिक जवाबदेह बना सकता है। हालांकि, इसकी सफलता के लिए तकनीक के साथ-साथ मानव मूल्यों और संतुलित दृष्टिकोण का भी ध्यान रखना जरूरी है। सही ढंग से लागू होने पर, यह मॉडल अन्य देशों के लिए एक प्रेरणास्रोत बन सकता है।